नयी दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने युवाओं को नशे की लत का शिकार होने से बचाने की जरूरत पर जोर देते हुए रविवार को कहा कि इससे निपटने के लिए परिवारों के मजबूत सहयोग की आवश्यकता होती है। प्रधानमंत्री ने गायत्री परिवार की ओर से आयोजित अश्वमेध यज्ञ कार्यक्रम में वीडियो संदेश में यह बात कही। उन्होंने कहा, मादकपदार्थ मुक्त भारत के निर्माण के लिए यह अहम है कि परिवार किसी संस्थान की भांति ही मजबूत बनें।
उन्होंने कहा कि जब परिवार कमजोर होता है तो मूल्यों का क्षरण होने लगता है और फिर उसका प्रभाव व्यापक तौर पर पड़ता है। प्रधानमंत्री ने परिवार की अवधारणा और उसके महत्व पर चर्चा करते हुए कहा कि जब परिजन कई दिन तक मेल मुलाकात नहीं करते तब खतरे पैदा होते हैं इसलिए परिवारों को मजबूत होने और देश को नशा मुक्त बनाने की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि अश्वमेध यज्ञ एक भव्य सामाजिक अभियान बन गया है साथ ही उन्होंने लाखों युवाओं को नशे से दूर रखने और राष्ट्र-निर्माण गतिविधियों की दिशा में इसकी भूमिका को भी रेखांकित किया। प्रधानमंत्री ने नशे के दुष्परिणामों पर भी चर्चा की। उन्होंने कहा कि नशा एक ऐसी बुराई है जो जिंदगियों को तबाह कर सकती है, समाज और देश को बहुत नुकसान पहुंचा सकती है।
उन्होंने कहा कि युवा देश का भविष्य हैं और भारत के भविष्य को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं और इसके विकास में योगदान देते हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि उन्हें अश्वमेध यज्ञ नाम वाले इस कार्यक्रम से जुड़ने में कुछ दुविधा थी क्योंकि यह शब्द ताकत के विस्तार से जुड़ा है। चुनाव भी नजदीक आ रहे हैं। उन्होंने कहा कि हालांकि इस कार्यक्रम का उद्देश्य बहुत ऊंचा है, साथ ही उन्होंने गायत्री परिवार के कार्यों और शिक्षाओं के लिए उसकी सराहना की।
अपने संबोधन में मोदी ने युवाओं को नशे की चपेट में आने से बचाने और इससे प्रभावित लोगों को सहायता प्रदान करने की आवश्यकता पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा, नशा व्यक्तियों और समाजों पर कहर बरपाता है, जिससे भारी क्षति होती है। प्रधानमंत्री ने कहा फिट इंडिया मूवमेंट और खेलो इंडिया जैसी पहल युवाओं को प्रेरित करेगी और एक प्रेरणा प्राप्त युवा मादक पदार्थों की ओर रुख नहीं कर सकता।